मध्यप्रदेश में लाड़ली बहना योजना को लेकर चल रही बंद होने की अटकलों पर मुख्यमंत्री मोहन यादव ने स्पष्ट बयान दिया है। उन्होंने विपक्ष के आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि यह योजना बंद नहीं की जाएगी, बल्कि निरंतर जारी रहेगी।
मंडला में बोले सीएम: “हमारी बहनों की राशि बंद नहीं होगी”
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने मंडला जिले के टिकरवारा गांव में आयोजित आदिवासी उत्सव में लाड़ली बहना योजना को लेकर बड़ा बयान दिया। उन्होंने कहा,
“हर महीने बहनों को 1250 रुपये मिलते हैं और यह सिलसिला नहीं रुकेगा। हमारे विरोधी कहते हैं कि योजना बंद हो जाएगी, मैं कहता हूँ तुम्हारी पार्टी बंद हो जाएगी, बहनों की योजना नहीं।”
इस बयान से साफ है कि सरकार इस योजना को लेकर पूरी तरह प्रतिबद्ध है।
16 अप्रैल को मिली 23वीं किस्त
लाड़ली बहना योजना की 23वीं किस्त का भुगतान 16 अप्रैल को किया गया। मुख्यमंत्री ने खुद मंडला से योजना की राशि ट्रांसफर की, जिससे लाखों महिलाओं को लाभ मिला। प्रत्येक पात्र महिला को ₹1250 की राशि सीधे बैंक खाते में भेजी गई।
3 लाख से ज्यादा महिलाओं के नाम हटे
हालांकि, इस बार की किस्त से पहले 3,19,991 महिलाओं को योजना से बाहर कर दिया गया। इन महिलाओं की उम्र 60 वर्ष से अधिक हो चुकी थी, जो योजना के नियमों के अनुसार पात्रता सीमा से बाहर हो गईं। सरकार ने यह स्पष्ट किया है कि पात्रता के आधार पर ही लाभ दिया जा रहा है।
क्या है लाड़ली बहना योजना?
यह योजना मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा शुरू की गई थी, जिसका उद्देश्य प्रदेश की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना है। इसमें पात्र महिलाओं को हर महीने 1000 से 1250 रुपये तक की सहायता राशि दी जाती है। योजना का सीधा फायदा गरीब और मध्यमवर्गीय महिलाओं को मिलता है।
मुख्यमंत्री के बयान के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि लाड़ली बहना योजना फिलहाल बंद नहीं हो रही है। हालांकि, सरकार पात्रता मानदंडों के आधार पर लाभार्थियों की समीक्षा करती रहेगी। इससे योजना की पारदर्शिता और विश्वसनीयता बनी रहेगी।